एमवीएन विश्वविद्यालय, पलवल में 11वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस अत्यंत उत्साह और उल्लास के साथ मनाया गया। इस वर्ष की थीम एक पृथ्वी, एक स्वास्थ्य के लिए योग रही, जो वैश्विक एकता और समग्र स्वास्थ्य के संदेश को सशक्त करती है। यह आयोजन माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान पर संपन्न हुआ, जिन्होंने देशवासियों से योग को अपनी दैनिक जीवनशैली में शामिल करने का आग्रह किया है।योग दिवस के अवसर पर आयोजित विशेष योग सत्र में विश्वविद्यालय के छात्र-छात्राओं, शिक्षकों एवं स्टाफ सदस्यों ने सक्रिय भागीदारी दिखाई। कार्यक्रम का शुभारंभ कुलपति प्रो. (डॉ.) अरुण गर्ग के प्रेरणादायक संबोधन से हुआ। उन्होंने कहा की योग केवल शारीरिक व्यायाम नहीं, बल्कि मानसिक संतुलन और आत्मिक उन्नति का साधन है। यह भारतीय संस्कृति की आत्मा है जिसे जीवन में अपनाना आवश्यक है। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उपकुलपति प्रो. (डॉ.) एन. पी. सिंह ने कहा की योग हमारे जीवन में अनुशासन, एकाग्रता और आत्मविश्वास लाता है। प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में योग अब एक वैश्विक जनांदोलन बन चुका है। कुलसचिव प्रो. (डॉ.) योगेन्द्र सिंह ने योग को शरीर, मन और आत्मा को जोडऩे वाला वैज्ञानिक पथ बताया। उन्होंने कहा की हमें योग को अपने दैनिक जीवन का हिस्सा बनाकर इसके लाभों को समाज में व्यापक रूप से प्रचारित करना चाहिए।कार्यक्रम के अंतर्गत सूर्य नमस्कार, विभिन्न योगासन, प्राणायाम, अनुलोम-विलोम और ध्यान सत्र आयोजित किए गए। अनुभवी योग प्रशिक्षकों द्वारा प्रतिभागियों को योग की सही तकनीक सिखाई गई और इसके लाभों पर विस्तृत जानकारी दी गई। एमवीएन विश्वविद्यालय ने इस आयोजन के माध्यम से यह स्पष्ट संदेश दिया कि योग केवल एक दिवस का आयोजन नहीं, बल्कि यह एक समर्पित जीवनशैली है। योग को अपनाकर हम व्यक्तिगत रूप से स्वस्थ और सामाजिक रूप से सशक्त बन सकते हैं।